बुढ़ापे में हर किसी को आर्थिक सुरक्षा की जरूरत होती है, लेकिन अब तक सिर्फ सरकारी और कुछ प्राइवेट कर्मचारियों को ही पेंशन का लाभ मिलता था। अब मोदी सरकार एक ऐसी योजना पर काम कर रही है, जिससे हर नागरिक को 60 साल की उम्र के बाद पेंशन मिल सकेगी। और केंद्र सरकार की इस योजना के बारे में हम यहाँ विस्तार से जानने वाले है।
मोदी सरकार यूनिवर्सल पेंशन स्कीम (Universal Pension Scheme) पर विचार कर रही है, जो पूरी तरह स्वैच्छिक और अंशदायी होगी। इसका मतलब है कि कोई भी व्यक्ति इसमें शामिल होकर अपनी वृद्धावस्था के लिए पेंशन का लाभ उठा सकता है।
देखें क्या है यूनिवर्सल पेंशन स्कीम
यूनिवर्सल पेंशन स्कीम एक पेंशन स्कीम होगी, जिसमें कई मौजूदा पेंशन योजनाओं को एक साथ जोड़ा जा सकता है। इसका लक्ष्य उन लोगों तक पेंशन पहुंचाना है जो अब तक भविष्य सुरक्षा निधि या इस तरह की पेंशन से वंचित थे, जैसे:
- असंगठित क्षेत्र के कामगार (दिहाड़ी मजदूर, निर्माण श्रमिक, रेहड़ी-पटरी वाले)
- स्वरोजगार करने वाले लोग (छोटे व्यापारी, फ्रीलांसर, किसान)
- गिग वर्कर्स और घरेलू कामगार
केंद्र की मोदी सरकार इस योजना को EPFO के तहत लागू करने की तैयारी में है ताकि इसे ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाया जा सके।
देखें कितनी मिलेगी पेंशन
हालांकि, अभी तक मोदी सरकार ने योजना के सभी फाइनेंशियल पहलुओं को सार्वजनिक नहीं किया है, लेकिन रिपोर्ट्स के मुताबिक, इसमें प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन योजना (PM-SYM) और व्यापारियों के लिए NPS जैसी स्कीम्स को मर्ज किया जा सकता है।
- अगर व्यक्ति योजना में 55 से 200 रुपये तक मासिक योगदान करता है, तो उसे 60 साल की उम्र के बाद कम से कम 3,000 रुपये महीना पेंशन मिलेगी।
- सरकार भी इसमें बराबर का योगदान दे सकती है, जिससे रिटायरमेंट के बाद पर्याप्त वित्तीय सुरक्षा मिलेगी।
देखें कैसे अलग होगी यह यूनिवर्सल पेंशन स्कीम
- यह सिर्फ सैलरीड कर्मचारियों तक सीमित नहीं होगी, बल्कि कोई भी इसमें शामिल हो सकेगा।
- इसमें मौजूदा पेंशन योजनाओं को मिलाया जा सकता है ताकि प्रक्रिया आसान हो।
- यह स्वैच्छिक योजना होगी, यानी कोई भी इसमें शामिल हो सकता है या नहीं, यह उसकी मर्जी पर निर्भर करेगा।
- यह EPFO और मौजूदा NPS से अलग होगी, यानी पहले से मौजूद स्कीम्स पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
योजना पर कब आएगा फैसला?
मोदी सरकार फिलहाल इस योजना का प्रस्ताव तैयार कर रही है और विभिन्न हितधारकों से सुझाव ले रही है। जल्द ही इसे अंतिम रूप देकर लागू किया जायेगा।
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देखें क्यों जरूरी है यह योजना?
भारत में करोड़ों लोग ऐसे हैं जो बुढ़ापे में पेंशन से वंचित रह जाते हैं। असंगठित क्षेत्र के मजदूरों और स्वरोजगार करने वाले लोगों के पास कोई निश्चित इनकम नहीं होती, जिससे वृद्धावस्था में आर्थिक संकट बढ़ सकता है। इस यूनिवर्सल पेंशन योजना से हर नागरिक को सामाजिक सुरक्षा मिलेगी और उनका भविष्य आर्थिक रूप से सुरक्षित होगा।
केंद्र की मोदी सरकार का यह कदम न सिर्फ लाखों लोगों को राहत देगा, बल्कि आर्थिक असमानता को भी कम करने में मदद करेगा। अब देखना यह होगा कि सरकार कब तक इस योजना को लागू करती है और इसमें कितने लोगों को शामिल किया जाता है। आपको यह यूनिवर्सल पेंशन योजना कैसी लगी और आप इस योजना को लागू करने के बारे में क्या विचार रखते है ? साथ ही आप चाहते है कि यह योजना लागू हो तो अपनी राय नीचे कमेंट करके हमे जरूर बताएं। साथ इस तरह की ख़बरों के लिए अपना कल न्यूज़ के साथ जुड़े रहें।
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